मुंबई। शराब कारोबारी विजय माल्या की कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस पर बकाया कर्ज वसूलने के लिए स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की तरफ से आयोजित किंगफिशर हाउस की नीलामी में किसी ने बोली नहीं लगाई।
एसबीआई ने इसके लिए ऑनलाइन नीलामी शुरू की थी, जिसके लिए कोई बोली नहीं मिली। मुंबई के विले पार्ले स्थित इस 17,000 वर्ग फुट के बंगले की बोली एसबीआईकैप्स ट्रस्टी की ओर से आयोजित की गई। बैंक ने इस प्रॉपर्टी का बेस प्राइस 150 करोड़ रुपये रखा था। गौर हो कि विजय माल्या पर बैंकों का करीब 9 हजार करोड़ रुपये का कर्ज है।
यह नीलामी वित्तीय परिसंपत्तियों के प्रतिभूतीकरण एवं पुनर्गठन तथा प्रतिभूति हित प्रवर्तन कानून (सरफेसी), 2002 के तहत की गई। इस संपत्ति पर फरवरी 2015 में भारतीय स्टेट बैंक के नेतृत्व में 17 बैंकों ने कब्जा किया था ताकि विमानन कंपनी को दिए गए 9000 करोड़ रपये के ऋण की वसूली हो सके। हाल में प्रवर्तन निदेशालय ने पिछले साल सीबीआई द्वारा दायर प्राथमिकी के आधार पर माल्या और अन्य के खिलाफ मनी लांडरिंग का मामला दर्ज किया है।
माल्या ने मांगी मोहलत
विजय माल्या इन्फोर्समेंट डायरेक्टरेट (ईडी) के सामने पेश नहीं होंगे। उन्होंने ईडी को लेटर भेजकर पेशी से अप्रैल तक की छूट मांगी है। ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग केस में पूछताछ के लिए माल्या को समन भेजा है। सीबीआई ने आईडीबीआई बैंक का लोन नहीं चुकाने के मामले में केस दर्ज किया था। इसके बाद ईडी ने 18 मार्च को पेश होने का समन जारी किया था।
माल्या से पाई-पाई वसूलेंगे बैंक: अरुण जेटली
वित्त मंत्री अरुण जेटली ने एक कार्यक्रम में कहा कि विजय माल्या के खिलाफ सभी सरकारी एजेंसियां कड़े कदम उठाएंगी। बैंक उनसे एक-एक कौड़ी वसूलेंगे। उन्होंने कहा कि माल्या की वजह से देश का नाम खराब हुआ।
उन्होंने कहा, माल्या मामले से जैसी मिसाल सामने आई हैं उससे भारतीय बैंकिंग क्षेत्र और निजी क्षेत्र दोनों की बदनामी हुई है। उन्होंने कहा कि सरकार की फौरी जिम्मेदारी है कि वह यह सुनिश्चित करे कि सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक मजबूत रहें। वित्त मंत्री ने कहा, इसलिए मैं बैंकों के पुनर्पूंजीकरण की कोशिश कर रहा हूं।
COMMENTS