बीजेपी के पूर्व महासचिव और फिलहाल पार्टी में हाशिए में ढकेले जा चुके नेता संजय जोशी को यहां आयोजित राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के एक कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि बुलावा भेजा गया है। स्वामी विवेकानंद की जयंती पर आरएसएस के स्वयंसेवकों से बना संगठन दीन दयाल सेवा प्रतिष्ठान ने एक सेमीनार का आयोजन किया है। इसी कार्यक्रम में जोशी को बुलाया गया है। बता दें कि जोशी पीएम नरेंद्र मोदी के कट्टर विरोधी माने जाते हैं। मोदी का बीजेपी में कद बढ़ने के साथ साथ संजय जोशी पूरी तरह हाशिए पर ढकेल दिए गए।
आरएसएस कार्यकर्ताओं ने संजय जोशी को ऐसे वक्त में अपने कार्यक्रम में बुलाया है, जब राज्य के आला बीजेपी नेता लगातार उनसे दूरी बनाए हुए हैं। कार्यक्रम के बारे में पूछे जाने पर आरएसएस के विभाग प्रचारक जयकृष्ण सिन्हा ने कहा कि जोशी को बतौर आरएसएस कार्यकर्ता निमंत्रण भेजा गया है। इसके अलावा, यह कार्यक्रम राजनीतिक नहीं है। हालांकि, संजय जोशी से इस कार्यक्रम को लेकर बात नहीं हो पाई। कार्यक्रम को लेकर आयोजनकर्ताओं ने जो बोर्ड लगवाए हैं, उस पर लिखा है, ”मुश्किलों में भाग जाना आसान होता है, हर पल जिंदगी का इम्तिहान होता है। डरने वाले को कुछ नहीं मिलता जिंदगी में और लड़ने वालों के कदमों में जहान होता है।” बता दें कि जोशी के समर्थकों द्वारा इस तरह के होर्डिंग पहले भी लखनऊ, भोपाल और दिल्ली में लगाए जा चुके हैं।
जोशी की वजह से कार्यक्रम रद्द कर चुकी है बीजेपी
पिछले साल सितंबर में बीजेपी कार्यकर्ताओं ने पीएम नरेंद्र मोदी के गोद लिए गए वाराणसी के गांव जयापुर में एक ब्लड डोनेशन कैंप आयोजित किया था। सूत्रों के मुताबिक, इस कार्यक्रम में संजय जोशी को बुलाए जाने की वजह से सीनियर पार्टी नेताओं के दबाव में यह कार्यक्रम रद्द कर दिया गया। माना जाता है कि मोदी जब गुजरात के सीएम थे तो उनके दबाव में ही संजय जोशी को बीजेपी के नेशनल एग्जीक्यूटिव से बाहर रखा गया था।
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