लखनऊ - अब किशोरों के अपराध मामलों के लिए विशेष पुलिस होगी। महिला एवं बाल विकास विभाग ने इसके लिए अलग कैडर की जरूरत बताई है। इस जरूरत का जिक्र विभाग ने सोमवार को जारी प्रदेश के किशोर न्याय नियमावली (बालकों की देख-रेख एवं संरक्षण) के फाइनल ड्राफ्ट में किया है।
विभाग ने इसे अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर अपलोड कर दिया है और जनता से इसपर राय मांगी है। अगर लोग सहमत होते हैं तो जल्द ही प्रदेश में किशोरों के अपराध मामलों को देखने के लिए विशेष पुलिस की व्यवस्था की जाएगी।
विभाग से मिली जानकारी के मुताबिक केंद्र सरकार ने जुविनाइल जस्टिस ऐक्ट के तहत जुविनाइल जस्टिस के मॉडल रूल्स जारी किए थे। इसके आधार पर प्रदेश सरकार ने अपने रूल तैयार किए हैं। इसका फाइनल ड्राफ्ट तैयार करके जनता से राय लेने के लिए विभाग की वेबसाइट www.mahilakalyan.up.nic.in पर अपलोड कर दिया गया है और इसे कोई देखकर इसपर अपनी राय दे सकता है।
ड्राफ्ट पर सुझाव देने की अंतिम तारीख 12 अगस्त, 2018 तय की गई है। यह सुझाव ई-मेल upjjmodelrules@gmail.com पर ही भेजने होंगे। ड्रॉफ्ट में कहा गया है कि जुविनाइल जस्टिस बोर्ड का फंड बढ़ाया जाए। केंद्र सरकार की तरफ से आने वाला फंड अपर्याप्त माना गया है।
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